लखनऊ : 10,000 से एक लाख रुपए तक के कृषि यंत्रों पर 2,500 और इस से अधिक के यंत्रों पर 5,000 रुपए जमानत राशि होगी. प्रमोशन औफ एग्रीकल्चरल मैकेनाइजेशन फौर इन-सीटू मैनेजमेंट औफ क्राप रेज्ड्यू, (सीआरएम) योजना के तहत फसल अवशेष प्रबंधन वाले कृषि यंत्रों पर अन्नदाता किसानों को अनुदान का अवसर उपलब्ध कराया गया है. इस के तहत 2 जुलाई से किसान औनलाइन आवेदन कर सकेंगे. यह प्रक्रिया 16 जुलाई तक चलेगी.
16 जुलाई तक किसान ऐसे करें औनलाइन आवेदन
एग्रीकल्चरल मैकेनाइजेशन फौर इन-सीटू मैनेजमेंट औफ क्राप रेड्ज्यू (सीआरएम) योजना के तहत कृषि यंत्रों सुपर स्ट्रा मैनेजमेंट सिस्टम (सुपर एसएमएस), हैप्पी सीडर/स्मार्ट सीडर, सुपर सीडर, पैडी स्ट्रा चोपर/श्रेडर/मल्चर, श्रब मास्टर/रोटरी स्लैशर, सरफेस सीडर, हाइड्रोलिक रिवर्सिबल एमबी प्लाऊ, बेलिंग मशीन, स्ट्रा रेक, जीरो टिल सीड कम फर्टिलाइजर ड्रिल, क्रापप रीपर ट्रैक्टर माउंटेड/सेल्फ प्रोपेल्ड, सेल्फ प्रोपेल्ड रीपर कम बाइंडर एवं कस्टम हायरिंग सैंटर के आवेदन के लिए 2 जुलाई को दोपहर 12 बजे से 16 जुलाई की रात 12 बजे तक किया जाएगा. विभागीय दर्शन पोर्टल https://www.agriculture.up.gov.in पर “यंत्र पर अनुदान हेतु टोकन निकालें” लिंक पर क्लिक कर औनलाइन आवेदन किया जा सकता है. आवेदन के लिए बुकिंग किए जाने के लिए विभागीय पोर्टल पर उपलब्ध मोबाइल नंबर पर ओटीपी यानी वन टाइम पासवर्ड प्राप्त होगा. आवेदक द्वारा एक मोबाइल नंबर से ही आवेदन किया जा सकेगा. इस के लिए अपना अथवा ब्लड रिलेशन सदस्यों के मोबाइल से ही आवेदन मान्य होगा, क्योंकि सत्यापन के समय इस की पुष्टि भी होगी.
फसल अवशेष प्रबंधन वाले कृषि यंत्रों के आवेदन के लिए बुकिंग प्रक्रिया
किसान परिवार (पति अथवा पत्नी में से कोई एक) द्वारा एक वित्तीय वर्ष में प्रमोशन औफ एग्रीकल्चरल मैकेनाइजेशन फौर इन-सीटू मैनेजमेंट औफ क्राप रेज्ड्यू योजना के तहत निर्धारित यंत्रों में से एक या एक से अधिक प्रकार के यंत्र लिए जा सकते हैं. फसल अवशेष प्रबंधन वाले कृषि यंत्रों पर अधिकतम 50 फीसदी व कस्टम हायरिंग सैंटर पर अधिकतम 80 फीसदी तक अनुदान प्राप्त होगा. योजना के तहत फसल अवशेष प्रबंधन वाले कृषि यंत्रों और कस्टम हायरिंग सैंटर के लिए ग्रामीण उद्यमी एवं एफपीओ लाभार्थी होंगे.
ई-लौटरी की मिलेगी सूचना
ई-लौटरी के लिए स्थल, तिथि एवं समय की जानकारी आवेदकों के मध्य संबंधित जनपदीय उपकृषि निदेशक द्वारा विभिन्न माध्यमों से सूचना दी जाएगी. निर्धारित समय के भीतर लक्ष्य से अधिक आवेदन प्राप्त होने पर जिलाधिकारी की अध्यक्षता में गठित कार्यकारी समिति के समक्ष विभागीय पोर्टल पर ई-लौटरी के माध्यम से ब्लौकवार लक्ष्यों के सापेक्ष लाभार्थी का चयन किया जाएगा. ई-लौटरी व्यवस्था में लक्ष्य के अनुरुप चयनित किए जाने वाले लाभार्थियों की संख्या के अतिरिक्त लक्ष्य का 50 फीसदी तक क्रम के अनुसार प्रतीक्षा सूची भी तैयार होगी. लक्ष्य की पूर्ति न होने पर ई-लौटरी द्वारा तैयार प्रतीक्षा सूची के क्रम में लाभार्थी का चयन किया जाएगा.
आवेदन के समय ही औनलाइन जमा करनी होगी जमानत राशि
पोर्टल https://www.agriculture.up.gov.in पर “यंत्र पर अनुदान हेतु टोकन निकालें” लिंक पर क्लिक कर औनलाइन आवेदन किया जा सकता है. आवेदन के समय ही किसान को यंत्रवार निर्धारित जमानत राशि औनलाइन जमा करनी होगी. लक्ष्य अवशेष न रहने पर एवं ई-लौटरी में चयनित न होने वाले किसानों की जमानत राशि वापस कर दी जाएगी. 10,001 रुपए से ले कर एक लाख रुपए के कृषि यंत्रों के लिए जमानत राशि 2,500 रुपए व एक लाख रुपए से अधिक अनुदान के कृषि यंत्रों के लिए जमानत राशि 5,000 रुपए होगी.
लाभार्थियों का चयन/बुकिंग टोकन कंफर्म होने की तिथि से कृषि यंत्र क्रय कर विभागीय पोर्टल पर क्रय रसीद यंत्रों की फोटो, सीरियल नंबर एवं संबंधित अभिलेख 30 दिन में अपलोड करना होगा. कस्टम हायरिंग सैंटर के लिए 45 दिन का समय दिया जाएगा.
विभाग में सूचीचद्ध कृषि यंत्र निर्माताओं में से किसी से भी क्रय करने की स्वतंत्रता होगी. इन कंपनियों के upyantratracking.in पोर्टल पर अपलोड यंत्र का क्रय करने पर ही अनुदान अनुमन्य होगा. निर्धारित समय में यंत्र न खरीदने की स्थिति में आवेदन स्वतः निरस्त हो जाएगा.
कृषि यंत्रों के खरीदने के लिए फर्मों को मूल्य का कम से कम 50 फीसदी धनराशि का भुगतान लाभार्थी के स्वयं के खाते से ही किए जाने पर अनुदान का भुगतान होगा.