दे शभर में अलगअलग जगहों पर मौसम का मिजाज भी अलगअलग देखा गया है. कहीं बहुत ज्यादा गरमी है, तो कहीं बहुत ज्यादा सर्दी. कहीं सूखा पड़ा है, तो कहीं बहुत ज्यादा बरसात. ऐसे में किसानों को बड़ा भारी नुकसान भी उठाना पड़ जाता है. किसान को होने वाले नुकसान की कुछ भरपाई की जा सके, इस के लिए केंद्र और राज्य सरकार की ओर से किसानों के लिए कई तरह की लाभकारी योजनाएं चलाई जा रही हैं, जिस का लाभ किसानों को मिल रहा है.

इसी क्रम में बिहार सरकार की किसानों के लिए एक खास योजना है. इस के तहत किसानों को सूखी खेती के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है, मतलब कम पानी में होने वाली खेती. इस के तहत किसानों को 50 फीसदी तक की सब्सिडी का फायदा दिया जाएगा.

इस योजना की खास बात यह है कि इस में बूंदबूंद सिंचाई योजना को मुख्य रूप से शामिल किया गया है, ताकि कम से कम पानी में अधिक फसलें उगाई जा सकें.

इस के लिए ड्रिप सिंचाई, सूक्ष्म सिंचाई आधारित शुष्क बागबानी योजना के तहत कम पानी में होने वाले शुष्क फलों के उत्पादन के लिए 0.60 लाख रुपए प्रति हेक्टेयर तीन वार्षिक किस्तों में लागत और रोपण सामग्री के मद में होने वाले खर्च को पूरा करने के लिए लिए दिया जाएगा. जो अधिकतम 0.30 लाख रुपए प्रति हेक्टेयर अथवा लागत का 50 फीसदी अनुदान, जो भी कम हो, दिए जाने का प्रावधान योजना के तहत किया गया है.

सिंचाई के लिए सिस्टम लगाने के लिए सरकार की ओर से सौ फीसदी तक अनुदान दिया जाएगा. सूखी खेती अपना कर किसान अधिक लाभ कमा सकते हैं और पानी की बचत भी कर सकते हैं.

सूखी खेती पर कितना अनुदान

यह अनुदान उन्हीं किसानों को दिया जाएगा, जो सूखी खेती के लिए सरकार की ओर से दिए जाने वाले बूंदबूंद सिंचाई संयंत्र से खेती करेंगे. जिन्होंने अपने खेत में ड्रिप सिंचाई सिस्टम लगा रखा है या उन के खेतों में ड्रिप सिंचाई संयंत्र स्थापित किया जा रहा हो, वे इस के लिए आवेदन कर सकते हैं.

इस योजना के तहत किसान फलदार पौधे के लिए अधिकतम 4 हेक्टेयर और न्यूनतम 0.1 हेक्टेयर के लिए आवेदन कर सकते हैं. योजना का कार्यान्वयन किसान अपने खेतों की मेंड़ पर भी करवा सकते हैं.

सूखी खेती के तहत फलदार पौधों की खेती के साथ ही किसान सब्जियों की खेती कर के भी अच्छाखासा लाभ कमा सकते हैं. फलदार पौधों के बीच की जगह पर किसान सब्जियां उगा सकते हैं.

इस से किसानों को अतिरिक्त आमदनी होगी. इस के लिए सरकार 7,500 सब्जी पौधा प्रति हेक्टेयर एकीकृत उद्यान विकास योजना से किसानों की मांग के अनुरूप उपलब्ध कराएगी.

किसानों को प्रशिक्षण

प्रदेश के किसानों को बिहार सरकार द्वारा सूखी खेती का प्रशिक्षण भी दिया जाएगा, ताकि किसान उन्नत तरीके से खेती कर के अच्छा लाभ कमा सकें. योजना के तहत जिलेवार योजना संचालन के लिए 2,400 किसानों को सैंटर औफ ऐक्सीलैंस द्वारा प्रशिक्षण भी दिया जाएगा.

फलों की खेती पर अनुदान

इस योजना का संचालन बिहार के सभी राज्यों में किया जाएगा. इस योजना के तहत किसानों को आंवला, बेर, जामुन, कटहल, बेल, अनार, नीबू व मीठा नीबू आदि के फलदार पौधे किसान लगा सकते हैं. किसानों को खेत में लगाने के लिए सैंटर औफ ऐक्सीलैंस, देसरी, वैशाली से पौध उपलब्ध कराई जाएगी.

किसान अपनी मनपसंद पौध का चयन कर उस के पौधे ले सकते हैं. इस में फल पौध के अनुदान की राशि योजना की राशि से काट कर सैंटर औफ ऐक्सीलैंस, देसरी, वैशाली को उपलब्ध करा दी जाएगी.

शुष्क बागबानी योजना के तहत सूखी खेती पर अनुदान लेने के लिए राज्य के किसान बिहार कृषि विभाग की आधिकारिक वैबसाइट www.horticulture.bihar.gov.in पर  आवेदन कर सकते हैं.

अधिक जानकारी के लिए क्लिक करें...