नई दिल्ली : केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण और ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कृषि क्षेत्र के लिए एक महत्वपूर्ण विकास के क्रम में आज नई दिल्ली में एग्रीश्योर योजना का शुभारंभ किया.

एग्रीश्योर स्टार्टअप और ग्रामीण उद्यमों के लिए कृषि फंड एक अभिनव फंड है, जो भारत में खेती के परिदृश्य में क्रांति लाने की दिशा में एक अग्रणी कदम है. प्रौद्योगिकी संचालित, उच्च जोखिम, उच्च प्रभाव वाले उपक्रमों पर ध्यान केंद्रित करते हुए एग्रीश्योर को कृषि और ग्रामीण स्टार्टअप इकोसिस्टम में विकास को बढ़ावा देने और नवाचार को बढ़ावा देने के लिए डिजाइन किया गया है.

सेबी द्वारा पंजीकृत श्रेणी II का 250 करोड़ रुपए मिश्रित पूंजी कोष, वैकल्पिक निवेश कोष (एआईएफ) के साथ भारत सरकार का योगदान 250 करोड़ रुपए है, नाबार्ड का 250 करोड़ रुपए है और बैंकों, बीमा कंपनियों और निजी निवेशकों से 250 करोड़ रुपए जुटाए जा रहे हैं.

फंड के शुभारंभ के लिए आयोजित कार्यक्रम में कई प्रतिष्ठित अतिथियों ने भाग लिया, जिन में केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्य मंत्री भागीरथ चौधरी, रामनाथ ठाकुर और कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय के सचिव डा. देवेश चतुर्वेदी शामिल थे.

सभा में कृषि मंत्रालय, वित्त मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी, प्रमुख बैंकों के प्रतिनिधि, राज्य सरकार के अधिकारी और कृषि समुदाय के प्रमुख हितधारक भी शामिल थे.

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अपने मुख्य भाषण में मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने नई लौंच की गई पहलों की परिवर्तनकारी क्षमता पर प्रकाश डाला. कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री शिवराज सिंह ने कहा कि एग्रीश्योर फंड का शुभारंभ सरकार के पिछले प्रयासों का ही एक हिस्सा है, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि भारत में हर किसान को फलनेफूलने के लिए आवश्यक तकनीकी सहायता मिले.

उन्होंने आगे कहा कि किसानों की समृद्धि से समृद्ध अर्थव्यवस्था बनेगी, क्योंकि किसान अपनी किस्मत को उपभोग पर खर्च करना शुरू कर देंगे और खेती देश की रीढ़ है और किसान ही इस का आधार है.

मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कृषक समुदाय को समर्थन देने के लिए सरकार की प्रतिबद्धता के बारे में विस्तार से बताया कि हमारा लक्ष्य हर किसान को सशक्त बनाना है और एग्रीश्योर फंड का शुभारंभ कृषि क्षेत्र के प्रति हमारे अटूट समर्पण का प्रमाण है. सरकार उत्पादन में वृद्धि, किसानों के लिए उत्पादन की लागत में कमी, किसानों के लिए लाभकारी मूल्य, फसल विविधीकरण, कटाई के बाद होने वाले नुकसान को रोकना और फसल बीमा के माध्यम से फसल के नुकसान के दौरान सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए निरंतर प्रयास करेगी.

कार्यक्रम में एग्रीश्योर ग्रीनथान पुरस्कार प्रदान किए गए, जो इनपुट के चयन से ले कर विपणन और मूल्य संवर्धन तक कृषि मूल्य श्रंखला के विभिन्न चरणों में किसानों के सामने आने वाली चुनौतियों का समाधान करने के लिए तकनीक केंद्रित समाधान विकसित करने वाले सब से नवीन स्टार्टअप को दिए गए.

ग्रीनथान 12 जुलाई, 2024 को मुंबई में लौंच किया गया था और लौंच से पहले 10 फाइनलिस्ट के साथ इस का ग्रैंड फिनाले आयोजित किया गया. 2000 उभरते एग्री स्टार्टअप में से 500 से अधिक प्रोटोटाइप की स्क्रीनिंग की गई, जिस में 10 फाइनलिस्ट ने अपने विचार प्रस्तुत किए. शीर्ष 3 स्टार्टअप – ग्रीन्सैपियो, कृषि कांति और एम्ब्रोनिक्स को कुल 10 फाइनलिस्ट में से क्रमशः विजेता, उपविजेता और द्वितीय उपविजेता के रूप में चुना गया. 6 लाख रुपए की राशि वाले ग्रीनथान ने न केवल उत्कृष्टता को पुरस्कृत किया, बल्कि भविष्य में सहयोग के लिए हितधारकों के व्यापक नेटवर्क के समक्ष अपने विचार प्रस्तुत करने के लिए स्टार्टअप्स को एक मंच भी प्रदान किया.

कार्यक्रम के दौरान देवेश चतुर्वेदी ने किसानों की समस्याओं के समाधान के लिए कृषि के क्षेत्र में स्टार्टअप की महत्वपूर्ण आवश्यकता पर बल दिया. यह कार्यक्रम राज्य सरकारों, बैंकों, निवेश समुदाय और स्टार्टअप के प्रतिनिधियों सहित विभिन्न हितधारकों का एक संगम था, जो एग्रीश्योर के शुभारंभ के अवसर पर एकसाथ आए, जो स्टार्टअप और ग्रामीण उद्यमों के लिए एक मिश्रित पूंजी कोष है. यह भारत में कृषि स्टार्टअप इकोसिस्टम में अपनी तरह का पहला उत्पाद है.

एग्रीश्योर फंड की शुरुआत के साथ सरकार का लक्ष्य कृषि क्षेत्र में निवेश को और आगे बढ़ाना है. यह किसानों को सशक्त बनाएगा और सुलभ एवं किफायती अभिनव समाधानों को गति दे कर ग्रामीण अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देगा.

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